
भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने 2025 के मॉनसून को लेकर ताज़ा अपडेट जारी किया है। इस बार दक्षिण-पश्चिम मॉनसून सामान्य से पहले भारत में दस्तक देगा, जिससे उत्तर भारत के लोगों को भीषण गर्मी से राहत मिलने की उम्मीद है।
केरल में समय से पहले मॉनसून की दस्तक
IMD के अनुसार, दक्षिण-पश्चिम मॉनसून 24-25 मई तक केरल में पहुंच सकता है, जो सामान्य तिथि 1 जून से लगभग एक सप्ताह पहले है। यह 2009 के बाद सबसे जल्दी मॉनसून आगमन होगा। केरल में मॉनसून की शुरुआत देशभर में मॉनसून के आगमन का संकेत मानी जाती है ।
उत्तर भारत में मॉनसून का संभावित आगमन
उत्तर भारत में मॉनसून के आगमन की संभावित तिथियां इस प्रकार हैं:
- उत्तर प्रदेश: 15 से 20 जून के बीच मॉनसून पहुंचने की संभावना है ।
- बिहार: 10 जून तक मॉनसून की दस्तक हो सकती है।
- उत्तराखंड: 20 जून के आसपास मॉनसून के पहुंचने की उम्मीद है ।
- दिल्ली और हरियाणा: 25 से 30 जून के बीच मॉनसून के पहुंचने की संभावना है ।
वर्तमान मौसम स्थिति और अलर्ट
- उत्तराखंड: 23 मई को पहाड़ी क्षेत्रों में बादल छाने और बारिश होने की संभावना है, जबकि मैदानी इलाकों में हल्की बौछारें पड़ सकती हैं। मौसम विभाग ने अलर्ट जारी किया है ।
- महाराष्ट्र: मुंबई में प्री-मानसून बारिश शुरू हो चुकी है, और ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। कोंकण और गोवा क्षेत्रों में भारी से बहुत भारी बारिश की संभावना है ।
- दिल्ली-NCR: आंधी और तूफान की संभावना है, जिससे लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी गई है ।
मॉनसून का प्रभाव और तैयारियाँ
मॉनसून का समय पर आगमन कृषि क्षेत्र के लिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि खरीफ फसलों की बुवाई मॉनसून पर निर्भर करती है। समय से पहले मॉनसून आने से किसानों को बुवाई के लिए पर्याप्त समय मिलेगा, जिससे फसल उत्पादन में वृद्धि हो सकती है।
हालांकि, भारी बारिश के कारण बाढ़ और भूस्खलन जैसी आपदाओं का खतरा भी बढ़ सकता है। इसलिए, संबंधित विभागों को आपदा प्रबंधन की तैयारियाँ सुनिश्चित करनी चाहिए।